1.4 करोड़ से ज्यादा यूजर्स का फेसबुक डेटा फिर हुआ लीक

खबरें अभी तक। साल 2018 फेसबुक के लिए सबसे मुश्किल साल साबित हो रहा है। यूजर डेटा प्राइवेसी को लेकर फेसबुक लगातार फंसता नजर आ रहा है। ऐसे में ही एक नया मामला सामने आया है। फेसबुक ने 1.4 करोड़ यूजर्स जिन्होंने अपने पोस्ट को प्राइवेट किसी ग्रुप या दोस्तों के लिए शेयर किया था। वो पब्लिक शेयर हुए। यूजर्स को इस बात की कोई जानकारी नहीं दी गई की उनके प्राइवेट पोस्ट पब्लिक हो रहे हैं। यानि बिना यूजर की जानकारी के पोस्ट को फेसबुक ने पब्लिकली शेयर किया। इसकी जानकारी खुद फेसबुक ने गुरुवार को दी। कंपनी ने बताया कि एक बग (टेक्नीकल गड़बड़ी) के कारण सिक्योरिटी को लेकर ये चूक हुई है।

फेसबुक में यूजर्स को  ‘ऑडियंस सलेक्टर’ टूल दिया जाता है। जिसकी मदद से वे ये तय करते हैं कि उनका पोस्ट दोस्तों के साथ, एक ग्रुप में या कुछ तय लोगों के साथ शेयर हो। लेकिन एक बग के कारण 18 मई से लेकर 27 मई तक कुछ फेसबुक यूजर्स ने जो भी पोस्ट डाले वो खुद-ब-खुद बिना यूजर की इजाजत के पब्लिक हो गए। ऑडियंस सेटिंग बिना यूजर की जानकारी के बदल गए।

फेसबुक के चीफ प्राइवेसी ऑफिसर एरिन एगेन ने बताया, ‘’हमने ये बग फिक्स कर लिया है। आज (गुरुवार) से हम उन सभी यूजर्स को इसकी जानकारी दे रहे हैं। जिनके फेसबुक पोस्ट इस बग से प्रभावित हुए हैं। हम उन्हें इस वक्त के दौरान किए गए सभी पोस्ट के रिव्यू करने का भी विकल्प दे रहे हैं। हम इस गलती के लिए यूजर्स से माफी मांगते हैं।’’

कैम्ब्रिज एनालिटिका डेटा स्कैम और न्यूयॉर्क टाइम्स के खुलासे के बाद ये पहली बार है जब फेसबुक ने खुद आगे बढ़कर अपनी गलती मानी है और यूजर्स को बग की जानकारी दी है।  फेसबुक अपने यूजर्स के बीच अपने प्लेटफॉर्म की खोती विश्वसनीयता को हासिल करने में जुटा है। इस जानकारी के जरिए फेसबुक ये जताना चाहता है कि यूजर्स के डेटा को लेकर कंपनी गंभीर है।

न्यूयॉर्क टाइम्स ने इस हफ्ते की शुरुआत में ही एक रिपोर्ट जारी की जिसके मुताबिक फेसबुक ने सैमसंग,  हुआवे, एपल जैसी 60 फोन मेकर कंपनियों के साथ यूजर का प्राइवेट डेटा शेयर किया। इतना ही नहीं यूजर्स के दोस्तों का भी डेटा इन फोन मेकर कंपनियों के साथ शेयर किया गया। NYT की रिपोर्ट के मुताबिक फेसबुक ने कहा था कि किसी भी इंटिग्रेटेड एपीआई के एक्सेस को खत्म किया जाएगा लेकिन अभी भी फेसबुक कई लोगों के साथ ऐसी साझेदारी रखता है जिसके तहत डेटा एक्सेस किया जा सके। फेसबुक ने अपने हालिया बयान में माना है कि उसने चीन की फोन मेकर कंपनियों के साथ डेटा शेयर किया गया। फेसबुक ने साल 2010 में कंपनियों के साथ डेटा को लेकर ये समझौता किया था। इनमें से कई समझौते अब तक चल रहे है।