सरकार ने सेब के प्रापण के लिए मण्डी मध्यस्थता योजना की घोषणा की

खबरें अभी तक। राज्य सरकार ने वर्ष 2018 के दौरान राज्य में सेब के प्रापण के लिए मण्डी मध्यस्थता योजना के क्रियान्वयन को मंजूरी प्रदान कर दी है। यह योजना 20 जुलाई 2018 से 31 अक्तूबर 2018 तक कार्यान्वित की जाएगी।

बागवानी विभाग के एक प्रवक्ता ने आज यहां कहा कि मण्डी मध्यस्थता योजना 2,29,136 मीट्रिक टन सेब के प्रापण के लिए क्रियान्वित की जाएगी, जिसके लिए प्रापण मूल्य 7.50 रुपये प्रति किलोग्राम होगा। हैंडलिंग चार्जिज 2.75 रुपये प्रति किलोग्राम जबकि अनुमानित बिक्री प्राप्ति 3.50 रुपये प्रति किलोग्राम होगा।

योजना के अन्तर्गत फल उत्पादकों की मांग के अनुरूप 279 प्रापण केन्द्र खोले जाएंगे, जिनमें से 162 एकत्रण केन्द्र एचपीएमसी द्वारा जबकि 117केन्द्र हिमफैड द्वारा खोले तथा संचालित किए जाएंगे, जिसके लिए राज्य सरकार द्वारा 258.46 लाख रुपये की राशि (152.28 लाख एचपीएमसी तथा 105.18लाख हिमफैड के लिए) प्रदान की जाएगी।

फलों का प्रापण वाष्पन उत्सर्जन तथा श्वसन नुकसान के दृष्टिगत 2.5 प्रतिशत अधिक फलों सहित 35किलोग्राम की बोरियों में किया जाएगा।

योजना के अन्तर्गत 51 मिली मीटर व्यास से अधिक सेब का ही प्रापण किया जाएगा। खराब छाल अथवा पक्षियों द्वारा खाए गए फलों को स्वीकार नहीं किया जाएगा। कीटों/दवाइयों के कारण दुषित तथा फंफूद बीमारी व स्कैब युक्त फलों को भी स्वीकार नहीं किया जाएगा। एथरोल स्प्रे युक्त फल को भी स्वीकार नहीं किया जाएगा। हालांकि, ओलावृष्टि से हल्के नुकसान, देखने में खराब व विकृत फलों का प्रापण किया जाएगा।